फिल्म चालबाज जब बनकर तैयार हो गई तब इस फिल्म के निर्माता ए पूर्णचंद्र राव इसको 24 नवम्बर 1989 को पूरे भारत में रिलीज करना चाहते थे। इसका कारण ये था कि उनके ज्योत्षी ने उन्हे कहा था कि 24 नवम्बर को ये फिल्म रिलीज करे क्योंकि ये तारीख उनके लिए शुभ है। लेकिन फिल्म के डिस्ट्रीब्यूटर्स 24 नवंबर के लिए राजी नहीं थे क्योंकि 24 नवंबर को बहुत से राज्यों में चुनाव होने वाले थे और उनको डर था कि चुनाव की वजह से फिल्म को अच्छी ओपनिंग नही मिलेगी। लेकिन निर्माता ए पूर्णचंद्र राव अपनी जिद पर अटल थे और 24 नवंबर को ही फिल्म रिलीज़ करना चाहते थे । सिर्फ इतना ही नहीं, सेंसर बोर्ड से मिला इस फिल्म का प्रमाणपत्र भी उन्होंने 22 नवंबर को लिया था जोकि उनके ज्योतिष द्वारा दी गई एक और शुभ तारीख थी प्रमाणपत्र लेने के लिए, जबकि सेंसर बोर्ड ने फिल्म 15 नवंबर को ही देख ली थी और 20 नवंबर को ही प्रमाणपत्र लेने को बोल दिया था। उनकी ये जिद देखते हुए फिल्म चालबाज को 24 नवंबर 1989 को केरल की सीमा से लगे एक छोटे से गांव के सिर्फ एक सिनेमा में रिलीज किया गया। इसके बाद इस फिल्म को पूरे भारत में दो हफ्ते बाद 8 दिसम्बर को रिलीज किया गया।