सनी देओल आज भले ही सफलता की कहानी कह रहे हैं, लेकिन एक समय ऐसा भी था कि सनी की एक-एक कर 11 फिल्में फ्लॉप हो गई थीं. ऐसे समय में अपने बेटे के डगमगाते फिल्मी करियर को संवारने के लिए पापा धरम सामने आए. साल 1990 में राजकुमार संतोषी के निर्देशन में धर्मेंद्र ने ‘घायल’ फिल्म बनाई, हालांकि इस कहानी पर कोई फिल्म बनाने के लिए तैयार नहीं था तो सनी ने अपने पापा से गुजारिश की.
पापा ने फिल्म की कहानी सुनी, उन्हें पसंद आई और धर्मेंद्र फिल्म प्रो़ड्यूस करने के लिए तैयार हो गए. एक्शन ड्रामा पर आधारित इस फिल्म को हिट करवाने के लिए धर्मेंद्र कोई कोर-कसर नहीं छोड़ना चाहते थे. इसलिए अपने बेटे सनी के अपोजिट श्रीदेवी को कास्टकरना चाहते थे, हालांकि फिल्म बनी मीनाक्षी शेषाद्री (Meenakshi Seshadri) के साथ और इनकी जोड़ी फिल्मी पर्दे पर जबरदस्तहिट रही. ये फिल्म बॉक्स ऑफिस से लेकर फिल्मफेयर अवॉर्ड्स फंक्शन तक छाई रही, जबकि पापा धर्मेंद्र और खुद सनी फिल्म कोलेकर बेहद डरे हुए थे.
‘घायल’ की जबरदस्त सफलता ने सनी देओल के करियर को सिर्फ संवारा ही नहीं, बल्कि सफलता की उड़ान भरने के लिए आसमान पर छाए बादल साफ कर आगे की राह आसान बना दी थी. सुपर डुपर हिट रही इस फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर भी खूब कमाई की औरकई अवॉर्ड्स अपने नाम किए, हालांकि फिल्म मेकिंग के समय राजकुमार संतोषी और धर्मेंद्र दोनों ही इस फिल्म को लेकर काफी डरे हुएथे. सनी का सितारा चमकाने के लिए पिता धर्मेंद्र की परेशानी लाजमी भी थी, लेकिन सनी की ये फिल्म उनके करियर में टर्निंग प्वाइंटबन गई. इसका अंदाजा न सनी को था न ही धर्मेंद्र को और न ही डायरेक्टर राजकुमार संतोषी को, लेकिन एक इंसान था जिसे सनी परपूरा भरोसा था.
श्रीदेवी ने ‘घायल’ का ऑफर ठुकरा दिया था
‘घायल’ ने सनी देओल को एक्शन हीरो के रूप में पहचान बनाई और एक्टर के करियर को किक भी मिला. फिल्म के दमदार डायलॉग और सनी देओल की लाजबाव एक्टिंग ने हर किसी का दिल जीत लिया था. इस फिल्म में धर्मेंद्र श्रीदेवी को कास्ट करना चाहते थे, लेकिन उस वक्त कई एक्ट्रेसेस ने सनी के साथ फिल्में करने से इनकार कर दिया था. ‘कैच न्यूज’ को दिए एक इंटरव्यू में खुद सनी नेबताया था कि ‘श्रीदेवी को फिल्म के लिए जब एप्रोच किया गया तो उन्होंने फिल्म का ऑफर ठुकरा दिया था.
सनी देओल की वजह से हो गई थी टेंशन जब श्रीदेवी ने फिल्म करने से इनकार कर दिया तो राजकुमार संतोषी ने मीनाक्षी शेषाद्री कानाम सुझाया था. कहते हैं कि राजकुमार के दिल में मीनाक्षी को लेकर सॉफ्ट कार्नर था, वह उन्हें बेहद पसंद करते थे. खैर फिल्म जबरिलीज हुई तो मीनाक्षी और सनी की जोड़ी ने कमाल कर दिया. इसके बाद इस जोड़ी ने कई फिल्मों में साथ काम किया. धर्मेंद्र औरराजकुमार यहां तक की सनी खुद फिल्म की रिलीज से पहले डरे हुए थे लेकिन मीनाक्षी बेहद कॉन्फिडेंट थीं. कहते हैं कि सनी देओलइतने डरे हुए थे कि फिल्म के प्रीमियर पर जाने से ही इनकार कर दिया था. सनी के इस रवैये से पूरी टीम टेंशन में आ गई थी. दरअसल, सनी को डर था कि उनकी पिछली 11 फिल्मों की तरह अगर ‘घायल’ भी नहीं चली तो अपने पापा को क्या मुंह दिखाएंगे ?
सनी देओल से काफी प्रभावित थीं मीनाक्षी शेषाद्री सनी देओल के साथ काम करते समय सनी का अपने काम के प्रति लगन, उनकीपर्सनैलिटी, डायलॉग डिलेवरी, एक्टिंग से मीनाक्षी शेषाद्री काफी प्रभावित थीं. मीडिया को दिए एक इंटरव्यू में बताया था कि ‘फिल्मकिस हद तक चलेगी या कामयाब होगी यह तो मैं नहीं कह सकती थी लेकिन सनी के बारे में मुझे पूरा भरोसा था’. हालांकि मीनाक्षी शेषाद्री की तुलना में फिल्म की सफलता का श्रेय सनी को ही ज्यादा मिला था.
प्राण (जन्म: 12 फ़रवरी 1920; मृत्यु: 12 जुलाई 2013) हिन्दी फ़िल्मों के एक प्रमुख चरित्र अभिनेता कई बार फ़िल्मफ़ेयर पुरस्कार तथा बंगाली फ़िल्म जर्नलिस्ट्स...
किस्तूर चंद बोकाड़िया उर्फ के सी बोकाडिया का जन्म राजस्थान के नागौर जिले के मेड़ता शहर मेंगुरुवार, 10 फरवरी 1949 में हुआ था। उनके माता-पिता और भाई बहन उनके चार भाई हैं, गौतम बोकाडिया, एमसी बोकाडिया, रतन कंवर बोकाडिया और डीसी बोकाडिया । के सी बोकाडिया साहब के दो बेटे हैं, प्रमोद बोकाडिया और राजेश बोकाडिया। ये दोनों भारतीय फिल्म निर्माता हैं।
के सी बोकाडिया के फिल्मों में प्रवेश को लेकर भी दिलचस्प कहानी है एक बार,बोकाडिया साहब राजस्थान से मद्रास की एक ट्रेन में यात्रा कर रहे थे, तो उनकी मुलाकात फिल्म गोल्डन स्टूडियो के मालिक से हुई, जिन्होंने वीके रमन के साथ भारतीय फिल्म का निर्देशन किया, उनकी मुलाकात की व्यवस्था की। उन्होंने वीके रमन के साथ हिंदीफिल्म 'रिवाज' (1972) में काम करना शुरू किया, लेकिन वीके रमन फिल्म से बाहर हो गए। इसके बाद वे एक और प्रसिद्ध भारतीय फिल्म निर्देशक के आसिफ से मिले और उनके साथ कई सुपरहिट हिंदी फिल्मों में काम किया 1972 में जुड़ाव के साथ निर्माता के रूप में अपनी शुरुआत की। के आसिफ के आकस्मिक निधन के बाद, उन्होंनेआसिफ की आखिरी फिल्म "लव एंड गॉड" को पूरी तरह से करने और रिलीज करने में मदद की।बतौर
निर्माता के रूप में के सी बोकाडिया ने अनेकों सुपरहिट फिल्म बनाई जिसमे से प्रमुख फिल्म इस प्रकार है
रिवाज(1972)
तेरी मेहरबानियां(1985)
प्यार झुकता नहीं(1985)
नसीब अपना अपना(1986)
जवाब हम देंगे(1987)
कुदरत का कानून(1987)
कब तक चुप रहूंगी(1988)
गंगा तेरे देश में(1988)
मैं तेरा दुश्मन(1989)
आज का अर्जुन(1990)
फूल बने अंगारे(1991)
पुलिस और मुजरिम(1992)
मेरे सजना साथ निभाना(1992)
तहकीकात(1993)
आओ प्यार करें(1994)
जनता की अदालत(1994)
ज़ख्मी सिपाही(1995)
मुकद्दमा(1996)
हिटलर (1998)
लाल बादशाह(1999)
सुल्तान(प्रस्तुति निर्माता) (2000)
प्यार जिंदगी है(2001)
हम तुम्हारे हैं सनम(2002)
खुदा कसम (2010)
निर्देशन के रूप बोकाडिया साहब ने पहली फिल्म आज का अर्जुन (1990) में बनाया अमिताभ बच्चन ने अभिनय किया था।के सीबोकाडिया के
निदेशक के तौर पर बनाई गई कुछ फिल्म इस प्रकार है
1987 कुदरत का कानून बीना बनर्जी, रमेश देव, सीएस दुबे
1990 आज का अर्जुन अमिताभ बच्चन,जया प्रदा
1991 फूल बने अंगराय रजनीकांत,रेखा,प्रेम चोपड़ा
1992 पुलिस और मुजरिम राज कुमार,विनोद खन्ना,मीनाक्षी शेषाद्री
1992 त्यागी रजनीकांत,जया प्रदा,भाग्यश्री, हिमालय
1993 कुंदन धर्मेंद्र,जया प्रदा,अमरीश पुरी
1993 इंसानियत के देवता राज कुमार,विनोद खन्ना,जया प्रदा,मनीषा कोइराला
1993 शक्तिमान अजय देवगन,करिश्मा कपूर,मुकेश खन्ना,कुलभूषण खरबंदा
1993 दिल है बेताब अजय देवगन,विवेक मुशरान,प्रतिभा सिन्हा
1994 मोह की आरज़ू ज़ेबा बख्तियार, राकेश बेदी, अश्विनी भावे
1995 मैदान-ए-जंग धर्मेंद्र,जया प्रदा,अक्षय कुमार,करिश्मा कपूर
1996 मुक्दमा विनोद खन्ना आदित्य पंचोली,महेश आनंद,ज़ेबा बख्तियार,गुलशन ग्रोवर
1998 ज़ुल्म-ओ-सीताम अर्जुन सरजा,महेश आनंद, विकास आनंद,किशोर आनंद भानुशाली
1999 लाल बादशाह अमिताभ बच्चन,मनीषा कोइराला,शिल्पा शेट्टी,राधिका
2006 निडर तन्वी वर्मा,प्रेम चोपड़ा,शक्ति कपूर
2010 खुदा कसम सनी देओल,तब्बू
2013 दीवाना मैं दीवाना गोविंदा,प्रियंका चोपड़ा,कादर खान
2015 डर्टी पॉलिटिक्स मल्लिका शेरावत,जैकी श्रॉफ,अनुपम खेर,ओम पुरी,नसीरुद्दीन शाह
2019 रॉकी: द रिवेंज श्रीकांत, आशन्या माहेश्वरी,नासर,सयाजी शिंदे
के सी बोकाडिया सबसे तेज गति से फिल्म बनाने के लिए जाने जाते है। उन्होंने एक समय में "50 फिल्में बनाने वाले सबसे तेजनिर्माता" कहा गया था । उन्होंने 'तेरी मेहरबानिया' जैसी अपरंपरागत फिल्में बनाईं जिनमें प्रमुख पात्र एक कुत्ता था। उन्होंने तेरीमेहरबानियां, मैं दुश्मन को देखता हूं, कुंदन जैसे जानवरों पर फिल्में भी बनाई हैं।1972से फिल्म इंडस्ट्री में एक्टिव बोकाडिया साहब नेबड़े बड़े सुपरस्टार को लेकर फिल्म बनाई अभिनेताराजेश खन्ना,जीतेंद्र,अमिताभ बच्चन,शत्रुघ्न सिन्हा,सैफ अली खान,राजकुमार,सलमान खान,सनी देओल, शाहरुखखान,विनोद खन्ना,अजय देवगन,धर्मेंद्र,अक्षय कुमार,मिथुन चक्रवर्ती,जैकी श्रॉफ,गोविंदा के साथ बोकाडिया जी ने सफल फिल्मे दी